समाचार

मुख्यमंत्री के हाथ प्रशस्ति पत्र दिलवाया लेकिन कन्या विद्या धन का 30 हजार नहीं दिया

शिक्षा विभाग का गज़ब कारनामा , अब छात्रा को बता रहे अपात्र 

गोरखपुर , 25 मई। ऐसा कारनामा शिक्षा विभाग ही कर सकता है। जिस छात्रा  को मुख्यमंत्री के हाथ कन्या विद्या धन का 30 हजार का प्रशस्ति पत्र दिलवाया उसे बाद में अपात्र कह कर कन्या धन से वंचित कर दिया।

मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने वर्ष् 2015 के लिए कन्या विद्याधन का वितरण 17 दिसम्बर 2015 को गोरखपुर विश्वविद्यालय में एक भव्य समारोह में किया था। इस समारोह में उन्होने निशा गोयल पुत्री  संतोष गोयल को भी 87 फीसदी  अंक पाने के कारण कन्या विद्या धन योजना के तहत 30 हजार की धनराशि से सम्मानित किया। उस वक्त निशा को 30 हजार की धनराशि के बजाय प्रशस्ति पत्र दिया गया था। शिक्षा विभाग के अफसरों ने कहा कि बाद में 30 हजार का चेक दिया जाएगा। निशा सेंट जोसफ स्कूल में पढ़ती थी और उन्होने 2015 में इंटर की परीक्षा 87 फीसदी आनक के साथ पास की थी। इस कारण उन्हें कन्या विद्या धन योजना का पत्र मानते हुए चुना गया था।

 

लेकिन आज तक निशा को 30 हजार का चेक नहीं मिला। विभागीय अधिकारी अब उसे अपात्र बता रहे हैं लेकिन जिसे पहले पत्र माना गया वह कैसे अपात्र हो गया यह नहीं बताया जा रहा है। यदि निशा अपात्र थी तो  तो विभाग द्वारा इतनी बड़ी भूल कर सूबे के मुखिया से उसे  प्रशस्ति पत्र कैसे दिलवाया गया ? या कहीं  गड़बड़ घोटाला कर निशा को उसके हक से वंचित किया जा रहा है।