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डेंगू से बचाव विषय पर 40 छात्राओं ने बनाये पोस्टर, शालिनी यादव की मिला पहला स्थान

गोरखपुर. विश फाउंडेशन ने 7 नवम्बर को जीएसके कंज्यूमर हेल्थ केयर लिमिटेड तथा स्वास्थ्य विभाग, के सहयोग से कार्मल स्कूल गोरखपुर में डेंगू से बचाव एवं रोकथाम विषय पर एक पोस्टर मेकिंग प्रतियोगिता का आयोजन मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ एस.के.तिवारी की अध्यक्षता में किया।

प्रतियोगिता में विद्यालय की 40 छात्राओं नें सुन्दर चित्रों, रोचक स्लोगन तथा संक्षिप्त  एवं सटीक शब्दों के माध्यम से डेंगू से बचाव एवं रोकथाम को दर्शाते हुए बहुत ही आकर्षक पोस्टर बनाये। डेंगू की जागरूकता हेतु छात्राओं की इस रचनात्मक अभिव्यक्ति नें मुख्य चिकित्सा अधिकारी सहित उपस्थित सभी लोगों को अत्यधिक प्रभावित किया।

प्रतियोगिता मे 1 से 4 स्थान पर आने वाले बच्चों को पुरस्कृत किया गया। प्रथम पुरूस्कार – सातवीं कक्षा की शालिनी यादव, द्वितीय पुरूस्कार – 12वीं कक्षा की राज लक्ष्मी, तृतीय पुरूस्कार – 11वीं कक्षा की सानिया खान एवं चतुर्थ पुरूस्कार – छठी कक्षा की राशि कनौजिया ने प्राप्त किया।

 

इस अवसर पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ एस.के.तिवारी ने छात्राओं को संबोधित करते हुए कहा कि डेंगू एक वायरल बुखार है जो एडीज नमक मच्छर के काटने से फैलता है। डेंगू के शुरुआती लक्षणों में रोगी को तेज़ बुखार रहता है, इसके साथ ही सिरदर्द, कमरदर्द और आँखों में तेज़ दर्द हो सकता है, इसके अलावा जोड़ों में दर्द, बैचेनी, उल्टियाँ, लो ब्लड प्रेशर जैसी समस्याएँ हो सकती हैं।

उन्होंने कहा कि डेंगू बुखार के लक्षण दिखने पर तुरंत अस्पताल जाना चाहिए। डेंगू में बचाव ही सबसे अधिक कारगर है। बचाव के लिए घर में या आसपास पानी जमा न होने दें, डेंगू फ़ैलाने वाला मच्छर ठहरे हुए साफ़ पानी में पनपता है, कूलर, फ्रिज के पीछे की ट्रे, पक्षियों के पानी पीनें का बर्तन, फूलदान, टूटे हुए बर्तन, टायर इत्यादि में पानी एकत्रित न होने दें। पानी से भरे हुए बर्तनों व् टंकियों आदि को ढक कर रखें। प्रत्येक सप्ताह कूलर को खाली करके सूखा दें। यह मच्छर दिन के समय काटता है, इसलिए शारीर को पूरा ढकने वाले कपडें पहने। खिड़की-दरवाजे बंद रखें व सोते समय मच्छरदानी का प्रयोग करें।

उन्होंने विश फाउंडेशन कार्मल स्कूल की प्राचार्या को धन्यवाद देते हुए कहा कि इस समय डेंगू की कार्यशाला को आयोजित करना बहुत आवश्यक है क्योंकि इस बिमारी के प्रकोप का यह अनुकूल समय है। उन्होंने जोर देते हुए कहा केवल प्लेटलेट का कम होना डेंगू नहीं है। बुखार होने पर नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र पर जाएँ। डेंगू से डरने की नहीं, अपितु बचने और लड़ने की ज़रूरत है।

इस दौरान जिला मलेरिया अधिकारी डॉ. ए.के.पाण्डेय, विश फाउंडेशन के कार्यक्रम प्रबंधक अंजुम गुलवेज़, कार्मल स्कूल की प्राचार्या सिस्टर जेसिन्था तोरू, वेद प्रकाश, अभिषेक, प्रिया, फरहाना आदि उपस्थित रहे।

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