एसडीएम, विधायक की मौजूदगी में पत्रकार को पीटा गया, आठ घंटे थाने में रखा

सिद्धार्थनगर। डुमरियागंज में बेंवा स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में बने एल टू कोविड अस्पताल के उद्घाटन कार्यक्रम के बाद पत्रकार अमीन फारूकी की वहां मौजूद कुछ लोगों ने पिटाई कर दी। जब यह घटना हुई वहां एसडीएम त्रिभुवन प्रसाद, भाजपा विधायक राघवेन्द्र प्रताप सिंह और सीओ मौजूद थे। घटना के कुछ देर बाद पुलिस अमीन फारूकी पर थाने लेकर आ गयी और करीब आठ घंटे तक लाकप में रखा। रात दस बजे के बाद उन्हें छोड़ा गया।

पत्रकार अमीन फारूकी का आरोप है कि उन्हें एसडीएम और विधायक के कहने पर विधायक के समर्थकों ने पीटा। एसडीएम कोविड-19 से एक गांव में आठ लोगों की मौत की खबर और लाॅकडाउन में कुछ विशेष दुकानों को रियायत देने की खबर से नाराज थे और उन्हें परिणाम भुगतने की चेतावनी दी थी।

एसडीएम और भाजपा विधायक ने कहा है कि पत्रकार अमीन फारूकी का कुछ लोगों से विवाद हुआ और उसी को लेकर घटना घटी। उनकी इसमें कोई भूमिका नहीं है।

पत्रकार अमीन फारूकी पिछले पांच वर्षों से डुमरियागंज में पत्रकारिता कर रहे हैं। वह इस वक्त एक समाचार चैनल से जुड़े हुए हैं।

गोरखपुर न्यूज लाइन से बातचीत करते हुए उन्होंने कहा कि लाॅकडाउन के दौरान उनकी कवरेज से एसडीएम त्रिभुवन नाराज थे। उन्होंने यह खबर की थी कि लाॅकडाउन में कुछ विशेष दुकानों को खोले जाने की छूट दी जा रही है। उन्होंने कुछ दिन पहले धनौरी गांव में आठ लोगों की मौत की खबर भी ब्रेक की थी। इससे एसडीएम नाराज हो गए। उन्होंने उन्हें मैसेज कर धमकी दी थी। उन्होंने मैसेज में लिखा था-‘ परेशान न हो। जब तुम्हे भी कोरोना होगा तो उसका इलाज भी हम ही करेंगे। समय आने दो। समय सब ठीक कर देगा। धैर्य बनाए रखो। ’

 

थाने के लाकप में पत्रकार अमीन फारुकी

अमीन फारूकी ने बताया कि सोमवार को बेंवा सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में बने एल टू कोविड अस्पताल का उद्घाटन कार्यक्रम था। स्वास्थ्य मंत्री जय प्रताप सिंह मुख्य अतिथि थे। जब वह कवरेज करने के लिए पहुंचे तो स्वास्थ्य मंत्री अस्पताल का उद्घाटन कर जा रहे थे। स्वास्थ्य मंत्री के जाने के बाद वहां भाजपा विधायक और एसडीएम ने उन्हें अपशब्द कहे। वह वहां से लौट रहे थे तभी वहां मौजूद लोगों ने उन पर हमला कर दिया। उन्हें बुरी तरह से पीटा गया। इस घटना के बाद वह अपने कार्यालय चले आए। दोपहर दो बजे वहां पुलिस पहुंची और उन्हें उठा ले गयी। उन्हें आठ घंटे तक थाने के लाॅकप में रखा गया और रात साढे दस बजे छोड़ा गया।

पत्रकार की पिटाई का वीडियो सोशल मीडिया में वायरल हो गया है। इस वीडियो में कुछ लोग पत्रकार को बुरी तरह पीट रहे हैं। वीडियो में दो पुलिस कर्मी भी दिख रहे हैं लेकिन वह पत्रकार को बचाने का कोई प्रयास नही ंकर रहे हैं। वीडियो के आखिर में एक आवाज सुनायी देती है कि रहने दो रहने दो। पत्रकार अमीन फारूकी का दावा है कि यह आवाज भाजपा विधायक की है।

पीपुल्स एलाइंस के प्रदेश कार्यकारणी सदस्य शाहरुख अहमद व जिला संयोजक अजीमुश्शान फारूकी ने पत्रकार की पिटाई की कड़ी निंदा की है। एक बयान में उन्होंने कहा कि डुमरियागंज के पत्रकार अमीन फारूकी बेंवा में न्यूज कवर करने गए थे कि डुमरियागंज एसडीएम त्रिभुवन कुमार और भाजपा विधायक राघवेंद्र प्रताप सिंह की शह पर गुंडों द्वारा पत्रकार की मॉब-लीचिंग की कोशिश की गई। पुलिस गुंडों से पत्रकार को बचाने के बजाए तमाशबीन खड़ी रही। पत्रकार जगत के लिए बड़े दुःख की बात है कि निष्पक्ष पत्रकारिता करने पर डुमरियागंज शासन-प्रशासन द्वारा मॉब लीचिंन कराने का प्रयास कर लोकतंत्र के चैथे स्तंभ पर हमला किया गया।