शेर बहादुर देउबा पांचवीं बार नेपाल के प्रधानमंत्री बने

काठमाण्डू। मंगलवार की देर शाम नेपाली कांग्रेस के अध्यक्ष शेर बहादुर देउबा ने पांचवीं बार नेपाल के प्रधानमंत्री के रूप में पद एवं गोपनीयता की शपथ ली। देउवा के साथ चार अन्य मंत्रियों ने भी पद एवं गोपनीयता की शपथ ली है।राष्ट्रपति विद्या देवी भण्डारी ने सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर मंगलवार की सुबह संविधन की धारा 76(5) के तहत देउबा को प्रधानमंत्री नियुक्त किया।

12 जुलाई को नेपाल के सुप्रीम कोर्ट ने राष्ट्रपति विद्या देवी भंडारी के संसद को भंग किये जाने के फैसले के ख़िलाफ़ दाखिल याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए संसद को पुनर्बहाल करने के साथ साथ 13 जुलाई की शाम 5 बजे तक नेपाली कांग्रेस के अध्यक्ष शेरबहादुर देउबा को प्रधानमंत्री नियुक्त करने का आदेश दिया था। प्रधान न्यायाधीश चौलेंद्र शमशेर राणा के नेतृत्व वाली पांच सदस्यीय संविधान पीठ ने ओली की सिफारिश पर राष्ट्रपति द्वारा संसद के निचले सदन को भंग करने के फैसले को असंवैधानिक बताया था।

प्रधानमंत्री शेर बहादुर देउबा ने कांग्रेस से बालकृष्ण खांड़ को गृहमंत्री, ज्ञान बाहदुर कार्की को कानून ,न्याय तथा संसदीय व्यवस्था,नेकपा माओवादी केंद्र से जनार्दन शर्मा को अर्थ मंत्री, पम्फा भुसाल को को ऊर्जा जल स्रोत तथा सिंचाई मंत्री नियुक्त किया है।

राष्ट्रपति विद्या देवी भंडारी ने प्रधानमंत्री की सिफारिश पर 22मई को संसद के निचले सदन को पांच माह में दूसरी बार भंग कर दिया था। यही नहीं 12 व 19 नवम्बर को मध्यवधि चुनाव की घोषणा भी कर दी थी। संसद के पुनर्बहाली की मांग को लेकर करीब 30 याचिकाएं दाखिल की गई थीं। 275 सदस्यीय सदन में विश्वास मत हारने के बाद ओली अभी अल्पमत सरकार का नेतृत्व कर रहे थे। विपक्षी दलों के गठबंधन की तरफ से भी याचिका दाखिल की गई थी जिसमें नेकां अध्यक्ष शेर बहादुर देउबा को 149 सांसदों के हस्ताक्षर के साथ प्रधानमंत्री नियुक्त करने का अनुरोध किया गया था।

शेरबहादुर देउबा की राजनैतिक यात्रा

पांचवीं बार नेपाल के प्रधानमंत्री बनने वाले शेर बहादुर देउबा वा का जन्म 13 जून 1946 को नेपाल के सुदूर पश्चिम जिला डडेलधुरा में हुआ था।नेपाली कांग्रेस के संस्थापक वीपी कोइराला की प्रेरणा से राजनीति में आये देउबा ने अपने राजनैतिक जीवन की शुरुआत छात्र राजनीति से की थी। वे 1971 में नेपाल विद्यार्थी संघ के संस्थापक अध्यक्ष बने और 1980 तक इस पद पर आसीन रहे।अपने राजनैतिक जीवन मे कई बार वो जेल भी गए ।कांग्रेस के विभाजन के बाद वो नेपाली कांग्रेस (प्रजातांत्रिक) के अध्यक्ष रहे।गिरिजा बाबू के प्रधानमंत्रित्व काल मे वो गृह मंत्री भी रहे। सन2005 में तत्कालीन नरेश राजा ज्ञानेंद्र ने उन्हें बर्खास्त कर सत्ता की बागडौर अपने हाथों में ले ली थी।पांचवीं बार नेपाल की बागडोर संभालने वाले देउबा इससे पहले 1995 से 1997 तक पहली बार,2001 से 2002 तक दूसरी बार,2004 से 2005 तक तीसरी बार,2017 से 2018 तक चौथी बार नेपाल के प्रधानमंत्री रहे।

फिलहाल मंत्रिमंडल में नेपाली कांग्रेस से दो और माओवादी केंद्र से दो कुल मिलाकर चार मंत्री नियुक्त किये गए हैं। देउबा के नेतृत्व में बनी पांच पार्टियों के गठबन्धन वाली सरकार में अभी जसपा ,माधव नेपाल (नेकपा एमाले),व राष्ट्रीय जनमोर्चा मंत्रीमंडल में शामिल नहीं हुए हैं। मंत्रिमंडल में अधिकतम 25 मंत्री बनाये जाने की संवैधानिक व्यवस्था है। देउवा सरकार को 30 दिन के भीतर विश्वास मत साबित करना होगा।