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दावा करने से वंचित रहे वनवासियों को मौका मिले, लंबित अपीलों पर निर्णय हो -वन अधिकार आंदोलन

बहराइच। नव सृजित राजस्व ग्राम ढकिया कैलाश नगर में 28 जनवरी को वन अधिकार जागरुकता बैठक का आयोजन किया गया। बैठक की अध्यक्षता बाबूराम ने की।

बैठक में उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए वन अधिकार आंदोलन के महासचिव रामेश्वर ने कहा कि जागरुकता के अभाव में अभी बहुत वन निवासी दावेदार दावा करने से वंचित रह गए हैं। उन्हें दावा करने के लिए अवसर दिया जाना चाहिए। इसके अलावा उपखंड स्तर पर सुनवाई के लिए लंबित अपीलों के निर्णय की जानकारी नहीं हो पा रही है जिसके लिए उप जिलाधिकारी कार्यालय पर संगठन के द्वारा एक दिवसीय धरना प्रदर्शन का आयोजन किया जाना चाहिए।

उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए वन अधिकार आंदोलन के संस्थापक एवं सामाजिक कार्यकर्ता जंग हिंदुस्तानी ने कहा कि हमें सूचना अधिकार कानून का प्रयोग करना चाहिए। इसके अतिरिक्त उच्च अधिकारियों से मिलकर अपनी बात रखना चाहिए। धरना प्रदर्शन अंतिम उपाय है। छोटे छोटे मामलों में इसका उपयोग नहीं करना चाहिए।

वन अधिकार आंदोलन के संगठन मंत्री मनमोहन ने कहा कि सभी नवसृजित राजस्व ग्राम को एकीकृत करते हुए एक नई ग्राम पंचायत बनाया जाना चाहिए जिससे वन ग्राम से राजस्व ग्राम में परिवर्तित गांव का संपूर्ण विकास हो सके।

वन अधिकार आंदोलन की महिला नेत्री चंपा देवी ने महिलाओं के सम्मान का मुद्दा उठाते हुए प्राथमिकता के आधार पर गांव में शौचालय बनाए जाने के लिए बात रखी। उन्होंने कहा कि वन्यजीव के हमले अधिकतर शौच जाते समय ही होते हैं। ऐसे में सबसे पहले शौचालय बनाया जाना बहुत जरुरी है। बैठक में द्वारिका प्रसाद, मोतीलाल, सूरसती जगमोहन,राम समुझ मौर्य,राम नरेश, सुरेंद्र आदि ने वन अधिकार कानून के विभिन्न प्रावधानों पर अपने विचार रखे।

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