गन्ने की फसल में फफूंद जनित पोक्का बोइंग रोग से किसान परेशान

कुशीनगर। पूर्वांचल के गन्ना किसानों को गन्ने में लगने वाले फफूंद जनित रोग पोक्का बोइंग नामक रोग ने परेशान कर रखा है। इस कभी से गन्ने की बढ़वार प्रभावित हो रही है।

कुशीनगर जिले में गन्ने की 0238 प्रजाति लगभग 80 फीसदी क्षेत्रफल में बोई गई है जिसमे पोक्का बोइंग रोग लग गया है। इससे गन्ने की बढ़वार प्रभावित हो रही है।
क्षेत्र भ्रमण व किसान गोष्ठी में भाग लेने आये उ प्र गन्ना प्रशिक्षण केंद्र पिपराइच गोरखपुर के उप निदेशक ओमप्रकाश गुप्ता ने बताया कि गन्ने की को 0238 प्रजाति में यह रोग लग चुका है। यह फ्यूजेरियन मोनीलीफोर्मि नामक फफूंद द्वारा फैलता है। इस रोग से प्रभावित गन्ने का अंगोला पत्ती का ऊपरी भाग सड़कर गिर जाता है।
उन्होंने बताया कि वर्षाकाल जून, जुलाई व अगस्त में गन्ने की फसल में इस रोग का प्रकोप होता है। इन्हीं दिनों में गन्ने की लगभग 80%बढ़वार भी होती है। रोग लगे फसल की वजह से किसान को काफी हानि हो जाती है। रोग के उपचार के विषय मे उन्होंने बताया कि इस समय किसानों को चाहिए कि रोग प्रभावित खेत मे कापर ऑक्सीक्लोराइड मात्रा 2 ग्राम प्रति लीटर की दर से छिड़काव करें और इसमें 6 ग्राम स्ट्रेप्टोसाइक़लिन मिला लें हालांकि बरसात की वजह से खेतों में पानी भरे होने से छिड़काव में समस्या आएगी।