जनपद

ड्रेन के किनारे फेंकी गई नवजात कन्या की मौत

नेबुआ नौरंगिया (कुशीनगर ), 7 जनवरी। विशुनपुरा के सरेह में सिधारिया ड्रेन के किनारे लावारिस हाल में फेंकी गई बालिका को मिली ममता की छाँव ज्यादा देर तक कायम न रह सकी। अस्पताल ले जाने से पहले ही उसने दम तोड़ दिया।
विशुनपुरा निवासी राजगीर पंकज यादव (28) को सुबह 5 बजे सिधारिया ड्रेन के किनारे स्थित चकमार्ग पर एक नवजात के रोने की आवाज सुनाई दी। समीप पहुँचे तो देखा क़ि एक नवजात वहाँ पड़ा है जिसके हाथ में ड्रिप लगी हुई है। वे उसे उठाकर घर लाये तो उनकी पत्नी आरती की ममता जग उठी और उसने उसे अपनी ममता की छाँव  दी।उसके इस कदम की ग्रामीणों सहित क्षेत्रीय जनों ने प्रशंसा करते हुए उसके इलाज की व्यवस्था कर ही रहे थे कि दोपहर 12 बजे बालिका ने दम तोड़ दिया। कयास लगाये जा रहे है कि किसी ने देर रात्रि ही बालिका को सरेह में मारने के  लिए छोड़ दिया था। लोग उस नवजात के माता -पिता के साथ ही क्षेत्र में संचालित उन अवैध हॉस्पिटलों को कोसते देखे गए जिनकी वजह से एक मासूम  को ऐसी मौत मिली।