गोरखपुर। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की उपस्थिति में रविवार की रात महाराणा प्रताप कालेज परिसर में भाजपा द्वारा आयोजित प्रबुद्ध वर्ग सम्मेलन में भाजपा प्रत्याशी रवि किशन न तो उपस्थित थे और न किसी ने उनके बारे में चर्चा की। अधिवक्तर वक्ताओं ने मोदी-योगी के कार्यों का गुणगान किया, गोरखपुर में हुए विकास कार्यों का बखान किया।
सम्मेलन में सिर्फ दो लोगों ने भाजपा प्रत्याशी का नाम लिए बिना विपक्षी दलों द्वारा उन्हें ‘ नचनिया ’ व ‘ बाहरी कहे ’ जाने का जवाब दिया। नगर विधायक डा. राधा मोहन दास अग्रवाल ने कहा कि जिन्हे ‘ नचनिया ’ कहा जा रहा है, उसने अपने बूते भोजपुरी भाषा और फिल्मों को लोकप्रिय बनाने का काम किया है। यह चुनाव ‘ अपराधी ’ और ‘ साफ सुथरी ’ छवि के बीच में है।
प्रबुद्ध वर्ग सम्मेलन की अध्यक्षता कर रहे प्रसिद्ध कथाकार प्रो रामदेव शुक्ल ने भी बिना नाम लिए भाजपा प्रत्याशी को विपक्षियों द्वारा ‘ नचनिया ’ कहे जाने का बचाव किया और कहा कि भोजपुरी के शेक्सपियर कहे जाने वाले भिखारी ठाकुर को भी पहले नचनिया कहा जाता था लेकिन देश ने उनके योगदान को स्वीकार किया और उन्हें पद्मविभूषण से सम्मानित किया और आज उन पर शोध होते हैं। उन्होंने कहा कि ‘ डकैती के पैसे बने विरोधी भाजपा प्रत्याशी का नचनिया कह रहे हैं। किसी को छोटा करने के लिए निगेटिव लोग इस तरह का प्रचार करते हैं। आप इस पर विचार न करें। ’
शाम 6 बजे से रात नौ बजे तक चले इस सम्मेलन में इन दोनों वक्ताओं के अलावा और किसी ने भाजपा प्रत्याशी का जिक्र तक नहीं किया। खुद योगी आदित्यनाथ ने 49 मिनट के भाषण में भाजपा प्रत्याशी के बारे में एक शब्द नहीं कहा।
सम्मेलन में शहर के शिक्षकों, चिकित्सकों, साहित्य से जुड़े लोगों को विशेष तौर पर बुलाया गया था। इनके लिए पांडाल में अलग-अलग व्यवस्था की गई थी। हालांकि सम्मेलन में बड़ी संख्या में छात्र भी दिखे फिर भी पीछे की तमाम कुर्सिंयां खाली थीं। पांडाल के बाहर सैकड़ों कुर्सियां ऐसे ही रखी थी जिन्हें पांडाल के अंदर लगाया ही नहीं गया था।
पांडाल के दोनों ओर गोरखपुर शहर में हुए विकास कार्यों को दर्शाने वाले फलैक्स लगे थे।
प्रबुद्ध सम्मेलन को गोरखपुर नगर के विधायक डा. राधा मोहन दास अग्रवाल, गोरखपुर ग्रामीण के विधायक विपिन सिंह, भोजपुरी कवि रवीन्द्र श्रीवास्तव उर्फ जुगानी भाई, चिकित्सक डा. स्मिता मोदी, गोरखपुर विश्वविद्यालय के राजनीति विज्ञान विभाग के अध्यक्ष प्रो गोपाल प्रसाद, अंग्रेजी विभाग की पूर्व अध्यक्ष प्रो विनोद सोलंकी, पूर्वांचल विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति प्रो रामअचल सिंह, डा. राजेश भारती, होमियोपैथिक चिकित्सक डा. रूप कुमार बनर्जी आदि ने सम्बोधित किया। सम्मेलन में वैद्य आत्माराम दूबे, प्रदेश सरकार के कैबिनेट मंत्री सुरेश खन्ना, धर्मपाल सिंह, महापौर सीताराम जायसवाल, प्रो आरके त्रिपाठी, डा. जेपी जायसवाल, हरिप्रकाश मिश्र, सत्य प्रकाश अग्रवाल, ओमप्रकाश जालान, अशोक जालान, ओमप्रकाश कर्मचंदानी आदि भी उपस्थित थे।
सम्मेलन में भाजपा प्रत्याशी रवि किशन उपस्थित नहीं थे। इस कार्यक्रम के पहले पीपीगंज में हुए कार्यकर्ता सम्मेलन में वह मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ थे। इसके बाद वह संतकबीरनगर लोकसभा क्षेत्र में भाजपा प्रत्याशी प्रवीण निषाद के रोड शो में शामिल होने चले गए।
सम्मेलन में किसी भी वक्ता ने भाजपा प्रत्याशी का नाम नहीं लिया। सभी गोरखपुर में योगी आदित्यनाथ द्वारा कराए गए विकास कार्यों की चर्चा करते रहे। एक वक्ता ने कहा कि जिस तरह प्रधानमंत्री बनने के पहले नरेन्द्र मोदी के गुजरात में कराए गए विकास के गुजरात माडल की चर्चा होती थी, उसी तरह आज यूपी के योगी माडल की चर्चा पूरी दुनिया में हो रही है।
होमियोपैथिक चिकित्सक डा. रूप कुमार बनर्जी ने कहा कि योगी आदित्यनाथ दिन-रात गोरखपुर के विकास के लिए सोचते हैं। स्त्री रोग विशेषज्ञ डा. स्मिता मोदी ने कहा कि सड़क चौड़ीकरण के दायरे में उनके प्राकृतिक चिकित्सा के केन्द्र आरोग्य मंदिर व उनके अस्पताल की दीवार व ढांचा आ गए और उन्हें तोड़ना पड़ा लेकिन उन्हें इससे दुख नहीं हुआ क्योंकि विकास के लिए यह जरूरी है।
भोजपुरी कवि रवीन्द्र श्रीवास्तव ने भोजपुरी में बोलते हुए योगी आदित्यनाथ को ‘ गोरखपुर शहर का कोतवाल ’ कहा जो सबके सुख-दुख का निवारण करते हैं। उन्होंने योगी को ‘ महान चिंतक ’ भी बताया। श्री श्रीवास्तव ने कहा कि योगी आदित्यनाथ के विकास कार्यों के चलते गोरखपुर शहर का हर चौराहा ‘ हसंत बा ’, ‘ विंहसत बा ’। योगी जी ने एम्स, फर्टिलाइजर बनवाया जिसके बारे में कोई सोच भी नहीं रहा था।
उन्होंने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की प्रशंसा करते हुए कहा कि उन्होंने हमें पाकिस्तान की रोज-रोज की धमकी से मुक्ति दिलायी। उन्होंने भोजपुरी को संविधान की आठवीं अनुसूची में जगह दिलाने की मांग करते हुए कहा कि मोदी-योगी के कारण पूरी दुनिया भारत का सम्मान कर रही है।
प्रबुद्ध सम्मेलन की अध्यक्षता कर रहे प्रसिद्ध साहित्यकार रामदेव शुक्ल ने कहा कि भारतीय परम्परा जीवन प्रणाली में एक शब्द चुनने का विकल्प हो जिसमें पूरी भारतीयता व्यक्त हो तो वह शब्द होगा योग। योग यानि संतुलन। पूरे वैश्विक परिदृश्य में हम सुनहरे भविष्य को ओर बढ़ रहे हैं। इस समय योग में पूरी तरह दीक्षित हमारा प्रधानमंती है और योग को प्रतिनिधित्व देने वाले योगी जी मुख्यमंत्री हैं जो सुबह तीन बजे उठते हैं और रात 12 बजे तक काम करते हैं। दुनिया में ऐसा कोई प्रधानमंत्री या मंत्री के बारे में आपने नहीं सुना होगा। उन्होंने लोकतंत्र को दुर्गा पूजा व दूसरे पर्वों की तरह उत्साह के साथ मनाने की अपील करते हुए कहा कि कि शहर के प्रबुद्ध जन कम मतदान करते हैं जो लोकतांत्रिक अपराध है।
प्रो शुक्ल ने कहा कि फ्रांस और यूरोप के विद्यार्थी 60 के दशक में भारत के गरीबों को मदद के लिए पैसे भेजते हैं लेकिन आज फ्रांस और ब्रिटेन दोनों देशों से बड़ी इकानामी हमारे देश की हो गई है। वैसे ये दोनों देश हमारे ही देश को लूटकर धनवान हुए हैं। अंग्रेजी शासन के पहले दुनिया की इकानामी में भारत का योगदान 26 प्रतिशत थी जो आजादी के समय सिर्फ दो प्रतिशत ही रह गया। अब यह रिवर्स हो रहा है।
चुनावी महाभारत में श्रीकृष्ण की तरह अर्जुन के रथ का सारथी बनें प्रबुद्ध जन : योगी आदित्यनाथ
योगी ने अपने लम्बे भाषण में कहा कि हमारी बहुत दिनों से इच्छा थी कि प्रबुद्ध जनों से संवाद करें लेकिन यह अवसर आज मिल रहा है। प्रबुद्ध जनों का गोरखपुर के निर्माण में बहुत योगदान है। मेरा यह आत्मीय जनों का कार्यक्रम है। मै यहां संदेश या उपदेश देने नहीं आया है। आज बदल रहा है। नया गोरखपुर बन रहा है। उन्होंने गोरखपुर, उत्तर प्रदेश और देश में विकास कार्यों का विस्तार से जिक्र किया। उन्होंने अपने सम्बोधन में पीएम नरेन्द्र मोदी की कई बार प्रशंसा की और कहा कि उनके मार्गदर्शन में ही वह कुंभ को शानदार तरीके से आयोजित किया। उन्होंने कहा कि नरेन्द्र मोदी ने देश को वैश्विक मंच पर नई पहचान दी है, बाह्य और आंतरिक सुरक्षा को सुदृढ़ किया है, देश में विकास को अग्रगति दी है और बिना नारा दिए गरीबों के लिए काम किया है।
उन्होंने डा. स्मिता मोदी की प्रशंसा करते हुए कहा कि उन्ही की तरह लोगों केा विकास के लिए त्याग करने की जरूरत है। डा. मोदी ने सड़क चैड़ीकरण के लिए अपने भवन को ढाहे जाने को सहर्ष स्वीकार किया। उन्होंने कहा कि इलाहाबाद में सड़क चैड़ीकरण में दो हजार लोगों के घर टूटे लेकिन लोगों ने विकास के लिए इसे स्वीकार किया। सिर्फ तीन लोग मुआवजा मांगने आए। शेष लोगों ने न मुआवजा मांगा और न शिकायत की।
उन्होंने चुनाव रूपी महाभारत में प्रबुद्ध जनों को श्रीकृष्ण की तरह अर्जुन के रथ का सारथी बनने का आह्वान किया।
सम्मेलन के बाद उपस्थित लोगों में प्रसाद (डिब्बा बंद आहार ) वितरित किया गया.