मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात के बाद अदील खान ने बताया कि उन्होंने भाई काशिफ़ पर हुए जानलेवा हमले के साजिशकर्ताओं और आरोपियों की गिरफ्तारी की मांग को लेकर मुख्यमंत्री से मुलाकात की है. उन्होंने बताया कि उन्हें पुलिस की जांच पर संदेह है क्योंकि अभी तक इस मामले में कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है.
उन्होंने कहा कि हमले के बाद घायल भाई के इलाज में भी पुलिस ने काफी देरी कराई. पुलिस इस अस्पताल से उस अस्पताल घुमाती रही. मेडिकल कालेज के डॉक्टर ने जब दोबारा मेडिकल करने से इनकार कर दिया, तब पुलिस मानी. ज्यादा खून बह जाने के कारण भाई की हालत भी खराब हो गई. बाद में उसे लखनऊ रेफर कर दिया गया. उन्होंने बताया कि उनके पूरे परिवार को जान का खतरा है.
उन्होंने आरोप लगाया कि उनके भाई पर हुए हमले में बीजेपी के बांसगांव सांसद कमलेश पासवान और उनके बिजनेस पार्टनर सतीश नांगलिया शामिल हैं. पुलिस सत्ता के दबाव में कोई कार्रवाई नहीं कर रही और जांच को भी प्रभावित किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री ने पूरी बात को गंभीरता से सुनने के बाद कार्रवाई का आश्वासन दिया।
कासिफ पर हुए जानलेवा हमले और हमलावरों के पुलिस की गिरफ्त में नहीं आने की शिकायत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और यूएनओ में भी हो चुकी है. कफ़ील खान के भाई कासिफ जमील को 10 जून की रात 10:30 बजे गोरखनाथ क्षेत्र में जेपी हॉस्पिटल के पास वाली गली में स्कूटी सवार दो हमलावरों ने तीन गोलियां मारी थी. इस घटना में कासिफ गंभीर रूप से घायल हो गए थे. इस मामले में अभी तक पुलिस के हाथ खाली हैं. अदील ने बताया कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पुलिस के आलाधिकारियों को घटना से जुड़े लोगों की जल्द से जल्द गिरफ्तारी के निर्देश दिए हैं.