गोरखपुर। पूर्वांचल की बेटियां अपनी प्रतिभा के बल पर समाज के विभिन्न क्षेत्रों में नाम रोशन कर रही हैं। शिक्षा ,स्वास्थ्य, रक्षा , न्याय ,प्रशासनिक आदि क्षेत्रों में इन बेटियों ने सफलता की नई नई इबारत लिखी है। कामयाबी की इस रवायत को आगे बढ़ाते हुए सामिया नसीम ने अमेरिका में जज बनकर पूर्वांचल ही नहीं बल्कि भारत का गौरव बढ़ाया है।सामिया नसीम के परिवार का सम्बंध गोरखपुर से है।
सामिया नसीम अमेरिका में जज नियुक्त की गई हैं।अमेरिका के अटॉर्नी जनरल विलियम बर ने शिकागो के लिए सामिया नसीम को जज के पद पर नियुक्त किया है। उन्होंने शिकागो में न्याय विभाग के मुख्य भवन में 20 दिसंबर, 2019 को विशेष समारोह में शपथ लिया।
सामिया नसीम पढ़ने में शुरू से ही मेधावी थीं।जज बनने से पूर्व वह अमेरिका में कई महत्वपूर्ण पदों पर अपनी सेवाएं दे चुकी है।उन्होंने 2001 में वाशिंगटन के सिमंस कॉलेज से कला स्नातक की परीक्षा बेहतर अंकों से उत्तीर्ण की थी।उन्होंने 2004 में जुरिस डॉक्टर की पढ़ाई वाशिंगटन यूनिवर्सिटी लॉ स्कूल से पूरी की।इसके अलावा साइमा नसीम ने इंटर नेशनल ह्यूमन राइट लॉ एंड रिफ्यूजी लॉ की पढ़ाई यूके के ऑक्सफ़ोर्ड से 2002 में की।साइमा नसीम का ऐकडेमिक कॅरियर बहुत ही शानदार रहा है।
अटॉर्नी जनरल विलियम बर ने सामिया नसीम को शिकागो आव्रजन अदालत के लिए आव्रजन न्यायाधीश के रूप में नियुक्त किया। वह 25 नवंबर, 2019 को शामिल हुईं और वाशिंगटन डीसी में अमेरिकी न्याय विभाग के मुख्य भवन में 20 दिसंबर, 2019 को औपचारिक रूप से एक सम्मान समारोह में सम्मानित हुईं। जज नसीम ने 2001 में सिमंस कॉलेज से कला स्नातक, और जॉर्ज वॉशिंगटन यूनिवर्सिटी लॉ स्कूल से 2004 में ज्यूरिस डॉक्टर की उपाधि प्राप्त की। अपने जूरिस डॉक्टर कार्यक्रम के भाग के रूप में, उन्होंने 2002 में यूनाइटेड किंगडम में ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय में अंतर्राष्ट्रीय मानवाधिकार कानून और शरणार्थी कानून का भी अध्ययन किया। 2010 से 2019 तक उनका एकेडेमिक कॅरियर बहुत ही शानदार रहा है। जज नसीम ने न्यूयॉर्क शहर और शिकागो में मुख्य वकील, आव्रजन और सीमा शुल्क प्रवर्तन विभाग, होमलैंड सुरक्षा विभाग के कार्यालय के लिए एक सहायक मुख्य वकील के रूप में कार्य किया। 2007-2010 से जज नसीम ने वाशिंगटन में संयुक्त राज्य अमेरिका के न्याय विभाग के साथ ट्रायल अटॉर्नी के रूप में कार्य किया। 2005-2007 तक उन्होंने बॉयलास्टन, मैसाचुसेट्स में खालिद नसीम के कानून कार्यालयों में एक वकील के रूप में कार्य किया। 2004-2005 से जज नसीम ने वाशिंगटन में माननीय जूडिथ एन मैकलुसो के लिए एक कानून क्लर्क के रूप में कार्य किया। जज नसीम न्यूयॉर्क के स्टेट बार की भी सदस्य हैं।
जज साइमा नसीम खालिद और होमैरा नसीम की बेटी हैं, जो भारत के गोरखपुर के मूल निवासी हैं। वे 1978 में संयुक्त राज्य अमेरिका में स्नातक की पढ़ाई करने चले गए थे। वे 1991 से ही मैसाचुसेट्स के बॉयलस्टोन में रहते हैं। खालिद पेशे से वकील है और होमायरा, जिनका जुनून सार्वजनिक सेवा है, एक प्लास्टिक इंजीनियर है।यह दंपत्ति विभिन्न क्षमताओं में कई गैर-लाभकारी संगठनों में शामिल होने के अलावा, वह बॉयलस्टोन शहर के नियोजन बोर्ड की एक निर्वाचित सदस्य भी हैं और 2016 में बर्नी के लिए एक राष्ट्रीय प्रतिनिधि थीं।
जज साइमा नसीम की बारे में तफसील से जानकारी देते हुए पेशे से न्यूक्लियर इंजीनयर और लेखक तनवीर सलीम ने बताया कि सामिया नसीम का ताल्लुक मेरे गृह नगर गोरखपुर से है। तनवीर सलीम खुद अमेरिका में लंबे समय तक बतौर न्यूक्लियर इंजीनियर रहचुके हैं। मूलतः गोरखपुर के रहने वाले है और कई किताबों के लेखक हैं । तनवीर सलीम ने बताया कि जज सामिया नसीम के पिता खालिद अमेरिका में पेशे से वकील हैं और उनकी मां होमायरा नसीम प्लास्टिक इंजीनयर हैं। साइमा नसीम के माता पिता भी अमेरिका में विभिन्न समाजसेवी सेवी संस्थाओं से जुड़कर समाज की बेहतरी के काम मे पूरी शिद्दत से जुटे हैं। खालिद मूलतः गीता प्रेस रोड गोरखपुर के मूल निवासी हैं, और 1978 में वे स्नातक की पढाई करने अमेरिका चले गए थे ,फिर वहीं बस गए।
सामिया नसीम की इस उपलब्धि से शहर में हर्ष का माहौल है।लेखक व पत्रकार मो सैय्यद आसिम रउफ ने सामिया नसीम के अमेरिका में जज बनने पर खुशी का इज़हार करते हुए कहा कि ये एक हर्ष का विषय है कि अमेरिका में हर किसी को आगे बढ़ने के लिए बराबर का अवसर मिलता है, और उसकी योग्यता उसका भविष्य निर्धारित करती है।शहर के जाने माने चिकित्सक और सर्जन डॉ खालिद अब्बासी ने कहा कि साइमा नसीम के जज बनने से पूर्वांचल ही नहीं अपितु भारत का मान बढ़ा है ऐसी बेटियों पर गर्व है।इंजीनयर अख्तर हुसैन ने कहा कि पूर्वांचल में प्रतिभाओं की कमी नही है भारत की बेटियां देश दुनिया में मुल्क का नाम रोशन कर रही हैं।