कोरोना जाति, धर्म या समाज देखकर भेद नहीं करेगा, सभी मिलजुल कर लड़ें : डॉ विजाहत करीम

गोरखपुर. शहर के प्रमुख चिकित्सक डॉ विजाहत करीम ने कहा है कि कोरोना जाति, धर्म या समाज देखकर भेद नहीं करेगा, इसलिए इस महामारी से सभी को मिलजुल कर लड़ने की जरूरत है.

एक बयान में डॉ करीम ने कहा कि विश्वव्यापी कोरोना महामारी ने मानव जगत के सामने गंभीर संकट उत्पन्न कर दिया है। दुनिया के अन्य देशों के साथ ही अपना हिन्दुस्तान भी कोरोना से युद्ध लड़ रहा है। इस युद्ध में सरकार, डाक्टर्स, पैरामेडिकल स्टाफ, सुरक्षाकर्मी, समाजसेवी और मीडियाकर्मी लोग अगले मोर्चे पर डटे हुए हैं जो निश्चय ही इस जंग में जीत हासिल करेंगे। उनका यह कार्य और देशसेवा हमेशा याद रखा जाएगा।

उन्होंने कहा कि इस जंग में नागरिकों की भी बहुत महत्वपूर्ण भूमिका है। जैसा कि सरकार और डाक्टर्स बार-बार कह रहे हैं, उन्हें कुछ दिनॉ के लिए घर के भीतर, सामाजिक दूरी बनाकर रहना है। इसमें निश्चित ही कुछ तकलीफें उठानी पड़ रही हैं लेकिन, यही इस युद्ध का नियम, नीति और सिद्धांत है। युद्ध के समय होने वाली तकलीफ़ों पर ध्यान न देकर प्रत्येक योद्धा को सिर्फ विजय की ओर देखना चाहिए।

डॉ करीम ने कहा कि यहां यह ध्यान रखना है कि कोरोना नामक यह शत्रु कोई जाति, धर्म या समाज देखकर किसी के साथ कोई भेद करने वाला नहीं है इसलिए वे मुसलमान जो अज्ञानता या किसी भी अन्य वजह से सरकार के निर्देशों, सामाजिक दूरी बनाये रखने की अपील को नजरअंदाज करने की भूल कर रहे हैं उन्हें पवित्र हदीस ( SAHIH AL-BUKHARI 5728 / सही अल-बुखारी 5728) में लिखी पैगम्बर मुहम्मद साहब की इस बात पर अमल करना चाहिए जिसमें वे कहते हैं कि जब प्लेग (महामारी) दस्तक दे तो किसी को बाहर नहीं जाना चाहिए और जहां भी प्लेग (महामारी) की संभावना हो तो जो जहां है, उसे वहीं रुक जाना चाहिए। कोरोना प्लेग से भी खतरनाक महामारी है इसलिए संकट के इस वक्त में हम सभी को पवित्र हदीस के निर्देश को मानते हुए आत्मानुशासन का पालन कर सरकार का सहयोग करना चाहिए। सरकार और चिकित्सकों के निर्देशों का पालन करना चाहिए और साथ ही अपने आसपास रहने वाले प्रत्येक गरीब, भूखे प्राणी की हर संभव मदद करनी चाहिए। इस समय यही सबसे बड़ी मानव सेवा व राष्ट्र सेवा है।