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गोरखपुर विश्वविद्यालय : आउटसोर्स कर्मचारियों के शोषण पर राज्यपाल और सीएम को पत्र लिखा  

गोरखपुर। राजीव गांधी स्टडी सर्किल गोरखपुर के समन्वयक डॉ प्रमोद कुमार शुक्ला ने कुलाधिपति, मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय,गोरखपुर के आउटसोर्सिंग कर्मचारियों के शोषण, उत्पीड़न पर चिंता जाहीर करते हुए उनके बकाया भुगतान, संविदकर्मी मोती निषाद के उपचार की व्यवस्था करने की मांग की है।

डॉ शुक्ला ने लिखा है कि आउटसोर्स कर्मचारी कई वर्षों से घोर शोषण के शिकार हैं। सामाजिक न्याय और दीनदयाल जी के अंत्योदय की बात दरकिनार करते हुए यहाँ के आउटसोर्सिंग कर्मचारियों को मिल रहे अल्प वेतन का भुगतान भी कभी समयबद्ध नहीं हो पा रहा। पूर्व में ही पैसे के अभाव में कई कर्मचारियों की मृत्यु हो गई। एक कर्मचारी ने तो आत्महत्या ही कर ली।
वर्तमान में एक आउटसोर्सिंग कर्मचारी मोती निषाद जिंदगी और मौत से जूझ रहा है लेकिन विश्वविद्यालय प्रशासन सुध नहीं ले रहा है। यहाँ के आउटसोर्सिंग कर्मचारियों से जी-तोड़ मेहनत कराई जाती है लेकिन चार-छह महीने तक वेतन न दिया जाना उनके साथ घोर अन्याय एवं संवेदनहीनता की पराकाष्ठा है। पूर्व कुलपति के कार्यकाल में भी आउटसोर्सिंग कर्मचारियों के पीएफ़ एकाउंट में घोटाला हुआ जिसकी जाँच रिपोर्ट में आज तक कोई कार्यवाही नहीं हुई है।

उन्होंने लिखा है कि विगत वर्षों से दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय प्रशासन की संविदा कर्मचारियों के प्रति लगातार ऐसी लापरवाही और संवेदनहीनता अक्षम्य है, जबकि गोरखपुर मुख्यमंत्री का गृह क्षेत्र है। गोरखपुर की मीडिया द्वारा भी इस घोर संवेदनहीनता पर गंभीर प्रश्न उठाए जा रहे हैं,पर विश्वविद्यालय प्रशासन मौन है।
उन्होंने राज्यपाल और मुख्यमंत्री से कुलपति को कर्मचारियों का समस्त बकाया भुगतान करने के साथ ही अस्पताल में भर्ती मोती निषाद के समुचित इलाज की व्यवस्था करने के लिए निर्देश देने का आग्रह किया है।

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